इमरान खान के ‘नए पाकिस्‍तान’ में घर लौटने की गारंटी नहीं : भारत


नई दिल्ली. पाकिस्तान दुनिया भर के देशों में न सिर्फ आतंकवाद के लिए बदनाम है बल्कि भारत के पड़ोसी मुल्क में और भी तमाम मुद्दे हैं जिनके जरिए इसकी एक बार फिर से संयुक्त राष्ट्र में धज्जियां उड़ी हैं. सोमवार (21 सितंबर) को जिनेवा में जारी संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (United Nations Human Rights Council) के 45वें सत्र में भारत ने मानवाधिकार के मुद्दे पर पाकिस्तान को जमकर लताड़ लगाई. संयुक्त राष्ट्र में भारत ने पाकिस्तान के तमाम मुद्दों को उठाते हुए कहा कि इमरान खान का नया पाकिस्तान (New Pakistan) ऐसा है जहां आप घर नहीं लौट सकते.

जिनेवा में आयोजित UNHRC के सेशन में भारतीय स्थायी मिशन में प्रथम सचिव सेंथिल कुमार (india’s First Secretary Senthil Kumar) ने भारत के खिलाफ मानवाधिकार को लेकर पाकिस्तान के आरोपों को खारिज किया है. उन्होंने कहा कि ”पाकिस्तान में मां, बहन और बेटियों के साथ आए दिन अत्याचार हो रहे हैं. जहां पर आतंकवाद, किडनैपिंग और मर्डर हो रहे हैं. जो देश अपने नागरिकों के मूल अधिकारों की रक्षा तक नहीं कर सकता है और इसे प्रधानमंत्री इमरान खान नया पाकिस्तान कहते हैं.’

महिलाओं पर अत्‍याचार
उन्होंने कहा, ”जिस पाकिस्तान में सुरक्षा बल आतंकवाद विरोधी अभियान में हत्याएं और अपहरण करते हैं ऐसे पाकिस्तान में कोई नहीं जाना चाहता.” सेंथिल ने कहा, नए पाकिस्तान की  न्यायपालिका (judiciary) कमजोर है जो अपने देश में रह रहे लोगों के बुनियादी मानवधिकारों तक की रक्षा करने में नाकाम है.

भारत की ओर से बयान में कहा गया है, “यह अच्छी तरह से डॉक्यूमेंट में लिखित है कि पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत क्षेत्रों में बड़ी संख्या में कश्मीरी बंदी अभी गुप्त हिरासत (secret detention) में हैं और उन्हें कई सालों से पाकिस्तान के सुरक्षा बलों द्वारा गंभीर रूप से प्रताड़ित किया जा रहा है.”

सेंथिल कुमार ने कहा, ”पाकिस्तान में पत्रकारों और मानवाधिकार रक्षकों, विशेष रूप से महिलाओं और अल्पसंख्यकों के खिलाफ ऑनलाइन और ऑफलाइन हिंसा जारी है. दूसरों के बारे में बोलने से पहले पाकिस्तान को अपना घर बेहतर बनाना चाहिए. ऐसे पाकिस्तान को इमरान खान नया पाकिस्तान कहते हैं.”

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