जोगी कांग्रेस का भाजपा को समर्थन: भूपेश ने कहा दोनों का है पुराना गठबंधन

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बिलासपुर। मरवाही उपुचनाव मैदान से बाहर हुए जोगी परिवार ने कांग्रेस का विरोध करते हुए भाजपा को समर्थन देने की बात स्वीकार कर ली है। दोनों पार्टी के एक साथ हो जाने पर प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि बहुत पहले से ही दोनों का गठबंधन चला आ रहा है। पहली बार दोनों इस पर बात को खुलकर स्वीकार कर रहे हैं।
मालूम हो कि अमित जोगी ने कल रात भाजपा को समर्थन करने की बात स्वीकार कर ली है। इस पर कांग्रेस नेताओं ने आरोप लगाते हुए कहा कि दस करोड़ रुपए में दोनों पार्टी के नेताओं के बीच समझौता हुआ है। आज मनेन्द्रगढ़ में पत्रकारों से चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि भाजपा और जोगी परिवार की शुरू से सेटिंग चली आ रही है। यह बात सभी जानते हैं। पहली बार दोनों ने खुलकर स्वीकार भी कर लिया है। जोगी कांग्रेस के विधायकों का कांग्रेस प्रवेश को लेकर मुख्यमंत्री ने साफ तौर पर कहा था कि कांग्रेस में विधायकों की संख्या पर्याप्त है, दलबदल की जरूरत नहीं है, जोगी कांग्रेस के विधायकों का कांग्रेस प्रवेश के मामले में हाईकमान फैसला लेगी। इसके बाद नाटकीय रूप से जनता कांग्रेस के विधायकों ने भाजपा को समर्थन देने की बात कही है। अमित जोगी ने भी कांग्रेस को मरवाही चुनाव में मात देने भाजपा को समर्थन करने बात स्वीकार कर ली है।
मरवाही विधानसभा उपचुनाव में जीत दर्ज कांग्रेसी जीत तोड़ मेहनत कर रहे हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने अपने एक बयान में कहा है कि चुनाव कोई भी महत्वपूर्ण होता है, कांग्रेस पार्टी पूरे दमखम के साथ मरवाही में चुनाव लड़ रही है।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने खुलासा करते हुए कहा कि पूर्वमुख्यमंत्री रमन सिंह अपने 15 सालों के कार्यकाल में मरवाही के तरफ कभी देखा ही नहीं है। वे कभी मरवाही विकास कार्यों की योजना को लेकर नहीं गए। जनता सब जानती है, हम विकास के मुद्दे को लेकर चुनाव लड़ रहे हैं। उन्होंने गौरेला-पेण्ड्रा-मरवाही को पर्यटन जिला के रूप में विकसित करने का वादा भी किया है। स्व. जोगी के गृह ग्राम जोगीसार में भी मुख्यमंत्री की चुनावी सभा आयोजित की गई।
मरवाही में अपना और पराया का मुद्दा बनाकर जोगी कांग्रेस के कार्यकर्ता और नेता चुनाव मैदान में डटे हुए थे। नामांकन रद्द होने के बाद कांग्रेस पार्टी का विरोध करते हुए जोगी कांग्रेस ने भाजपा का खुलकर समर्थन करने का ऐलान कर दिया है। इधर कांग्रेस के आला नेताओं ने भी कमर कस ली है। मरवाही को ही मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने न्यायाधीश की संज्ञा दी है। अब देखना है कि ऊंट किस करवट बैठेगा। 03 नवंबर को मतदान और 10 नवंबर को मतगणना के बाद मरवाही में सारा कुछ दूध का दूध और पानी का पानी तरह साफ नजर आने लगेगा।

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