टीम से रोहित शर्मा को बाहर रखने पर उठे बड़े सवाल, अपनी ही बातों में फंसे सौरव गांगुली


नई दिल्ली. भारतीय क्रिकेट बोर्ड (BCCI) के अध्यक्ष सौरव गांगुली (Sourav Ganguly) ने कहा है कि, ‘रोहित फिलहाल चोटिल है. अन्यथा हम उसके जैसे खिलाड़ी को बाहर क्यों रखते. वह राष्ट्रीय (सीमित ओवरों की टीम) टीम के उप कप्तान हैं.’ लेकिन अब गांगुली के बयान पर बड़े सवाल उठने लगे है.

मुंबई इंडियंस के कप्तान रोहित (Rohit Sharma) ने प्रैक्टिस करते हुए अपना वीडियो शेयर किया था इतना ही नहीं रोहित शर्मा ने सनराइजर्स हैदराबाद के खिलाफ मुकाबला भी खेला और साथ ही मैच के बाद ये भी कहा कि वह पूरी तरह से ठीक है. जब एक खिलाड़ी पूरी तरह फिट है तो फिर बीसीसीआई उसकी चोट का हवाला देकर कैसे उसे टीम से बाहर रख सकती है. इसी बात को लेकर गांगुली के बयान पर सवाल उठ रहे हैं.

रोहित (Rohit Sharma) किंग्स इलेवन पंजाब के खिलाफ दूसरे चरण के मैच के बाद से बायें पैर की मांसपेशियों में चोट के कारण नहीं खेल पाए हैं और इस कारण उन्हें इस महीने ऑस्ट्रेलिया दौरे पर जाने वाली भारतीय टीम में भी जगह नहीं मिली है. बीसीसीआई अध्यक्ष (Rohit Sharma) ने ये भी कहा कि बोर्ड रोहित जैसे खिलाड़ी की मैदान पर वापसी के लिए हर संभव प्रयास करेगा क्योंकि यह उनका काम है. मुंबई इंडियंस को प्लेऑफ में दिल्ली कैपिटल्स से भिड़ना है.

उन्होंने कहा, ‘हमें इसका आकलन करना होगा. हमें नहीं पता कि वह कब वापसी करेगा. चोटिल होने के बाद वह अब तक नहीं खेला है. हम चाहते हैं कि वह उबर जाए. यह बीसीसीआई का काम है कि वह अपने सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों को मैदान पर उतारे. अगर वह उबर जाता है तो वह खेलेगा’. मुंबई इंडियंस द्वारा पोस्ट किए गए उस वीडियो के बारे में पूछने पर जिसमें रोहित नेट पर बल्लेबाजी करते दिख रहे हैं, गांगुली ने इस सीनियर खिलाड़ी को सतर्क रहने को कहा.

पूर्व भारतीय कप्तान ने कहा, ‘हां, आप नहीं चाहते कि वह दोबारा चोटिल हो. उसकी मांसपेशियों में चोट है और दोबारा ऐसा हो सकता है. इसके बाद उसे वापसी करने में और अधिक समय लगेगा लेकिन हां, ऐसे लोग हैं जो उसके साथ काम कर रहे हैं’.

उन्होंने कहा, ‘मुंबई इंडियंस का फिजियो उनके साथ काम कर रहा है. भारतीय फिजियो (नितिन पटेल) भी यहां है. रोहित को भी पता है कि उसके सामने लंबा करियर है और यह सिर्फ इस आईपीएल की बात नहीं है’.

गांगुली (Sourav Ganguly) का मानना है कि ट्रेनिंग के दौरान जो चीज सही लग रही हो जरूरी नहीं है कि मैच की स्थिति में भी वह सही हो. उन्होंने कहा, ‘मैं आपको बता सकता हूं कि अभ्यास में आप जो चीजें आसानी से कर रहे हो, मैच की स्थिति के दौरान आपको इसमें जूझना पड़ सकता है. दबाव की स्थिति में मांसपेशियां अलग प्रतिक्रिया देती हैं’.

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