तब्लीगी जमात से जुड़े 36 विदेशी नागरिकों पर चलेगा मुकदमा
नई दिल्ली. दिल्ली में कोरोना संक्रमण फैलाने के आरोप में पकड़े गए 36 विदेशी जमातियों पर मुकदमा चलाया जाएगा. साकेत डिस्ट्रिक्ट कोर्ट ने दिल्ली पुलिस की चार्जशीट को मंजूर करते हुए पहली नजर में इन पर लगे आरोपों को सही माना. अब इन सभी विदेशी जमातियों पर नेशनल डिसास्टर मैनेजमेंट एक्ट की धाराओं के तहत मुकद्दमा चलाया जाएगा.
बता दें कि किसी भी मजहब के प्रचार के लिए आने वाले विदेशियों को अपने आने का कारण बताकर ‘मिशनरी’ कैटिगरी में वीजा के लिए अप्लाई करना पड़ता है. लेकिन भारत में इस कैटिगरी में वीजा आसानी से नहीं मिलता. इसलिए ईसाई मिशनरी समेत विदेशी जमाती पर्यटक बनाकर देश में घुस आते हैं.
इस बार भी निजामुद्दीन मरकज के बुलावे पर करीब 3 दर्जन देशों से सैकड़ों जमाती टूरिस्ट वीजा पर मार्च में भारत पहुंचे थे. संयोग से उसी वक्त कोरोना संक्रमण के चलते दिल्ली सरकार ने किसी भी सामाजिक गतिविधि पर रोक लगा दी और सभी सार्वजनिक परिसरों को तुरंत खाली करने की घोषणा की.
लेकिन निजामुद्दीन मरकज में ठहरे सैकड़ों बाहर नहीं निकले और वहीं बने रहे. जबकि उनके दूसरे समूह सरकार की नियमावली का उल्लंघन कर देश के दूसरे हिस्सों में प्रचार के लिए चले गए. इसके बाद पुलिस- प्रशासन ने ऑपरेशन चलाकर सभी जमातियों को बाहर निकालकर टेस्ट करवाया तो उनमें से काफी सारे कोरोना संक्रमित मिले.
इसके बाद उन पर केस दर्ज किया गया. इस मामले में अधिकतर देसी जमातियों को जमानत मिल चुकी है. वहीं मामले में पकड़े गए 36 विदेशी जमातियों के खिलाफ अब साकेत कोर्ट ने मुकदमा चलाने का आदेश दिया है.
तब्लीग़ी जमातियों की ओर से पैरवी करते हुए वरिष्ठ वकील रिबेका जॉन ने उन्हें निर्दोष बताया और चार्जशीट खारिज करने की मांग की. वहीं दिल्ली पुलिस के तरफ से वकील अतुल श्रीवास्तव ने बहस करते हुए उनके खिलाफ केस शुरू करने की अनुमति देने की अपील की. दोनों पक्षों की बात सुनने के बाद कोर्ट ने माना कि उन 36 विदेशी जमातियों ने जानबूझ कर सरकार के आदेश नहीं माने और देश के कई कानूनों का उल्लंघन किया.