दुवाओं और मन्नतों का दौर हुआ शुरू : दीपावली पर्व आते शहर में निकले तीसरी दुनिया के लोग
बिलासपुर. दीपावली पर्व के आते ही तीसरी दुनिया के लोग शहर में निकल चुके हैं। गाजे-बाजे के साथ व्यापारियों के घरों और दुकानों में दस्तक देकर मनचाहा उपहार लेने के बाद उन्हें दुआएं देने का सिलसिला प्रारंभ हो चुका है। शहर के बड़े बाजारों में किन्नर समुदाय के लोग वर्षों से आ रहे हैं। दीपावली पर्व इनके लिए खास पर्व होता है। वहीं बाजार के दुकानदार भी इन्हें निराश नहीं करते मनचाहा उपहार देकर इन्हें विदा करते हैं।
जमाना बदलते चला गया लेकिन पुरानी परंपरा आज भी शहर में देखने को मिलती है। लोगों के घरों में शुभ अवसर पर दुआएं देने किन्नर समुदाय के लोग पहुंच जाते हैं। बिलासपुर शहर में किन्नर समुदाय के लोगों की काफी संख्या है। अरपापार चांटीडीह में ज्यादा इस समुदाय के लोग निवास करते हैं। पुराना जान पहचान आपसी मेल मिलाप इनका लोगों में शुरू से बना हुआ है। गोल बाजार में किन्नरों की टोली निकली, यहां प्रत्येक दुकानों में नाच-गाकर दुआएं देने का दौर चलता रहा। राजा किन्नर भी अपनी टोली के साथ निकल पड़े। अपना हक मांगने की रिवाज शुरू से किन्नरों में है। लोग इन्हें स्वीकार भी करते हैं। दीपावली पर्व के दौरान अगर बाजार में किन्नर समुदाय के लोग नजर नहीं आते है तो बाजार की रौनकता भंग हो जाती है। सोने चांदी व अन्य वस्तुओं को खरीदने की जिस तरह से परंपरा चली आ रही है ठीक इसी तरह से किन्नर समुदाय को सम्मान देने की शहर में पुरानी प्रथा है।
बीते समय में चांटीडीह मेलापारा में किन्नर समुदाय का एक बड़ा सम्मेलन आयोजित हुआ करता था। देश भर के किन्नर इस सम्मेलन में हिस्सा लेते थे। इसी तरह इनके आयोजन में नेता मंत्री और आम नागरिक बढ़चढ़ कर हिस्सा लेते थे। शहर में किन्नर समुदाय के लोग विशेष अवसर पर अपनी अहम भूमिका निभाते चले आ रहे हैं। पूर्व में विधानसभा चुनाव के दौरान किन्नर समुदाय के लोगों ने अपना स्वयं का प्रत्याशी भी उतारा था। इसी तरह हर वर्ष पुलिस लाइन में उर्स पाक के दौरान भी किन्नर समाज के लोग संदल चादर निकालकर शहर की शोभा बढ़ाते चले आ रहे हैं। कोरोनो काल में बाजार की रफ्तार धीरे-धीरे बढ़ रही है। दीपावली की खरीददारी भी शुरू हो चुकी है। दुकानों को आकर्षक ढंग से साजाया गया है। भारी भीड़ भाड़ का आलम बना हुआ है। इस दौरान किन्नर समुदाय के लोग भी अपना रंग बिखेरना शुरू कर दिए है।
बाजार में उमड़ी भीड़: सड़कों में लगने लगी जाम
बिलासपुर। शहर में यातायात व्यवस्था अनियंत्रित हो चुकी है। सड़क के आधे हिस्से को घेरकर दुकानदार अपना कारोबार फैलाकर कर रहे हैं। शहर प्रमुख मार्गों में पुथपाथ तक नहीं है। पैदल चलने वालों के साथ दो पहिया व चार पहिया वाहनों की लंबी कतारे लगी रही है। यातायात विभाग के अधिकारी कर्मचारी सड़क पर निकलकर लोगों को समझाइश देते नजर आ रहे हैं लेकिन उनकी सुनने को कोई तैयार नहीं है। गोल बाजार, सदर बाजार व शनिचरी बाजार आने वालों के लिए पार्किंग की व्यवस्था लालबहादुर शास्त्री स्कूल मैदान में की गई है। ङ्क्षकतु अधिकांश वाहनधारी मुख्य मार्ग में ही वाहनों को खड़ा करते हैं।
मालूम हो कि त्यौहारी सीजन में बाजार में भारी भीड़ उमड़ती है। कोरोना काल के बाद भी लोग भारी संख्या में बाजार पहुंच रहे हैं। दीपावली पर्व की खरीददारी भी शुरू हो गई है। दुकानदार अपने दुकानों के सामने टेंट लगाकर दुकान का सामान सड़क पर लाकर बेच रहे हैं। पुथपाथ के नाम पर एक इंच जमीन नहीं है। पैदल चलने वालों के साथ साथ आटो रिक्शा, कार और दो पहिया वाहनों की लंबी कतारे लगने लगी है। बाजार आने वाले लोगों के लिए लाल बहादुर शास्त्री स्कूल मैदान में पार्किंग की व्यवस्था की गई है। इसी तरह थाना सिटी कोतवाली में वाहनों को रखने के लिए पर्याप्त जगह है। कोतवाली थाना के सामने नगर निगम के औषधालय में भी पार्किंग की व्यवस्था है। शनिचरी बाजार, गोलबाजार, सदरबाजार में त्यौहारी सीजन में भारी भीड़-भाड़ की स्थिति निर्मित होती है। धनतेरस के दिन तो यहां पर पैर रखने के लिए जगह नहीं रहती है। बावजूद इसके लोग चार पहिया वाहनों को बीच सड़क पर खड़ा कर रहे हैं। यातायात विभाग के अधिकारी कर्मचारी लोगों को समझाइश भले ही दे रहे हैं लेकिन लोग नहीं मान रहे हैं।