मोदी सरकार ने कसा पेंच, जल्द हो सकता है नीरव मोदी और मेहुल चोकसी का प्रत्यर्पण


नई दिल्ली. नीरव मोदी – Nirav Modi और मेहुल चोकसी – Mehul Choksi को भारत लाने के लिए नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) सरकार ने और शिंकजा कस दिया है. विदेश मंत्रालय का कहना है कि 13,000 करोड़ रुपये के पंजाब नेशनल बैंक घोटाले के सिलसिले में सरकार ने कड़ा रुख अख्तियार कर रखा है. इस मामले में कोई कोताही नहीं बरती जा रही. भारतीय विदेश मंत्रालय मामा-भांजे मेहुल चोकसी और नीरव मोदी को जल्द भारत लाने में कामयाब हो जाएगी.

केंद्रीय विदेश मंत्रालय प्रवक्ता ने बताया कि भारत सरकार ने एंटीगा सरकार से अनुरोध किया है कि मेहुल चोकसी के प्रत्यर्पण पर कानूनी कार्यवाही की प्रक्रिया को तेज करें. इसी तरह विदेश मंत्रालय नीरव मोदी मामले में लंदन की अदालत में उसके प्रत्यर्पण के मुकदमे पर पैनी नजर बनाए हुए है. मोदी के प्रत्यर्पण के सरकार सभी कानूनी दस्तावेज लंदन की कोर्ट को मुहैया करा रही है.

उल्लेखनीय है कि पंजाब नेशनल बैंक में करीब 13 हजार करोड़ रुपये की जालसाजी करने वाले मामा-भांजे मेहुल चोकसी और नीरव मोदी जनवरी 2018 में देश से फरार हो गए थे.नीरव मोदी को 19 मार्च में लंदन में गिरफ्तार कर लिया गया था. इसके बाद लंदन की अदालत में उसके प्रत्यर्पण का मुकदमा चल रहा है. 29 मार्च 2018 को वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट्स कोर्ट के जज एम्मा अर्बथनॉट ने 48 साल के नीरव मोदी को जमानत देने से इनकार कर दिया. फिलहाल मोदी का मुकदमे पर लंदन में सुनवाई जारी है.

पीएनबी स्कैम का दूसरा आरोपी और नीरव मोदी का रिश्तेदार मेहुल चोकसी इस वक्त एंटीगुआ में ही है. उसने जनवरी, 2018 महीने में एंटीगुआ की नागरिकता ली थी. मेहुल चोकसी ने जनवरी में एंटीगुआ स्थित इंडियन हाईकमीशन में अपना पासपोर्ट जमाकर दिया था. मेहुल चोकसी ने भी एंटीगुआ में निवेश का बहाना बनाकर वहां की नागरिकता ली थी. मेहुल चोकसी के प्रत्यर्पण के लिए भारतीय एजेंसिया एंटीगुआ में लगातार कानूनी कार्रवाई कर रही है.

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