सरकार से बातचीत के प्रस्ताव पर आज फैसला लेंगे किसान, होने वाली है अहम बैठक
नई दिल्ली. नए कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग को लेकर धरने पर बैठे किसानों को मनाने के लिए मोदी सरकार (Modi Government) हर संभव प्रयास कर रही है, लेकिन किसान अपने रुख पर कायम हैं. सरकार द्वारा किसानों को बातचीत के लिए एक और प्रस्ताव भी भेजा गया है, जिस पर आज फैसला होने की उम्मीद है. सिंघु बॉर्डर पर संयुक्त किसान मोर्चा (Sanyukt Kisan Morcha) की आज बैठक होने वाली है. इस बैठक में सरकार के प्रस्ताव पर चर्चा के साथ ही आगे की रणनीति तय की जाएगी. किसान पिछले एक महीने से अपनी मांगों को लेकर आंदोलन (Farmers Protest) कर रहे हैं. इस बीच, हल निकालने की कई बार कोशिश की जा चुकी है, लेकिन अब तक कोई ठोस नतीजा नहीं निकला है.
हरियाणा Border पर लगाया जाम
किसान संयुक्त मोर्चा (Sanyukt Kisan Morcha) की आज होने वाली बैठक का समय तय नहीं है, लेकिन ये बैठक आंदोलन (Farmers Protest) के लिए अहम मानी जा रही है. इस बैठक में किसान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) से मुलाकात के मुद्दे पर चर्चा करने के साथ ही आगे की रणनीति तैयार करेंगे. इस बीच किसानों ने हरियाणा बॉर्डर पर शाहजहांपुर में जाम लगा दिया है. दिल्ली कूच के लिए निकले किसानों को हरियाणा पुलिस ने रास्ते में ही रोक लिया था, जिसके बाद किसानों ने दिल्ली से जयपुर आने वाली लेन को भी जाम कर दिया. NH 48 पर जाम होने से दिल्ली जयपुर का संपर्क कट गया है.
Delhi पहुंच रहे किसान
भारतीय किसान यूनियन एकता (उग्रहान) ने भी ऐलान किया है कि 26 और 27 दिसंबर को 30,000 किसान दिल्ली की सीमा पर विरोध-प्रदर्शन में शामिल होंगे. वहीं, अमृतसर से किसान मजदूर संघर्ष कमेटी ने दिल्ली की ओर जत्था रवाना किया है, इससे पहले भी ये कमेटी दो जत्थे रवाना कर चुकी है. उधर राजस्थान से नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल ने ऐलान किया है कि अगर सरकार किसानों की मांगें नही मानेगी तो वो राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) का साथ छोड़ देंगे. साथ ही उन्होंने कहा कि वो आज किसानों के साथ दिल्ली कूच में शामिल होंगे. इससे पहले उन्होंने तीनों संसदीय समितियों से भी इस्तीफा दे दिया था.
PM मोदी ने विपक्ष पर साधा निशाना
सरकार लगातार किसानों को आश्वासन दे रही है कि कृषि कानून उनके हित में लाए गए हैं और उनमें कुछ भी गलत नहीं है. शुक्रवार को ‘प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि’ के तहत प्रधानमंत्री मोदी ने नौ करोड़ किसानों के खाते में 18 हजार करोड़ रुपये ट्रांसफर करते हुए भी यही बात दोहराई. साथ ही उन्होंने एक बार फिर विपक्ष को घेरते हुए कहा कि इन्हें सिर्फ अपना स्वार्थ नजर आता है. वहीं, केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र तोमर ने कहा कि जमीनी आधार खो चुके लोग किसानों को गुमराह कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि नए कानून किसानों के जीवन स्तर में सुधार लाएंगे. भाजपा अध्यक्ष जे.पी.नड्डा ने भी किसानों से विपक्ष की बातों से सावधान रहने की अपील की है.