संभागीय कोविड अस्पताल से स्वस्थ होकर डिस्चार्ज हुए तीन मरीज
बिलासपुर. संभाग स्तरीय कोविड-19 चिकित्सालय बिलासपुर को अपने प्रारंभिक अवस्था में एक बड़ी सफलता हासिल हुई है। राज्य सरकार का पहला कोविड हॉस्पिटल है जहां से तीन कोरोना मरीज स्वस्थ होकर अपने घर लौट गये हैं। कोविड अस्पताल की प्रभारी डॉ. मधुलिका सिंह ठाकुर ने बताया कि आज तीन मरीजों को इलाज के बाद अस्पताल से डिस्चार्ज किया गया है। इनमें दो पुरुष तथा एक महिला हैं। ये 15 मई को कोविड-19 अस्पताल में भर्ती हुए थे। इन तीनों मरीजों का स्वाब सैंपल दो बार 24 घंटे के अंतराल में निगेटिव आया, जिसके पश्चात् उन्हें अस्पताल से आज दोपहर दो बजे डिस्चार्ज किया गया। ये सभी जांजगीर-चाम्पा के रहने वाले हैं। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जांजगीर चाम्पा को निर्देशित किया गया है कि वे मरीजों को 14 दिन के लिए क्वारांटीन पर रखें। तीनों मरीज स्वस्थ एवं प्रसन्न थे तथा उन्होंने सभी का आभार जताया। डॉ. ठाकुर ने कहा कि इस सफलता में जिला प्रशासन, नगर-निगम तथा अस्तपाल के स्टाफ का महत्वपूर्ण योगदान रहा। अस्पताल में आज कोरबा के 7 तथा ग्राम अमने, कोटा के एक मरीज को भर्ती किया गया है। इस समय संभागीय कोविड अस्पताल में 18 मरीजों का उपचार चल रहा है।
कोटा के ग्राम अमने की चैहद्दी कंटेनमेंट जोन घोषित : कोविड-19 का पॉजिटिव केस पाये जाने के बाद कोरोना वायरस के संक्रमण के फैलाव की रोकथाम की दृष्टि से कोटा तहसील के ग्राम अमने की चैहद्दी को कंटेन्मेन्ट जोन घोषित किया गया है। कलेक्टर एवं जिला दंडाधिकारी द्वारा जारी आदेश के अनुसार ग्राम अमने की चैहद्दी पूर्व दिशा कलारतराई, रानीसागर, पीपरतराई, पश्चिम दिशा मोहदी, उत्तर दिशा कोटा एवं चंगोरी तथा दक्षिण दिशा में टांडा तहसील तखतपुर को कंटेंनमेंट जोन घोषित करते हुए इसके तीन किलोमीटर की परिधि को बफर जोन में शामिल किया गया है। आदेश के अनुसार चिन्हांकित क्षेत्रों में सभी दुकानें व वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों को बंद रखा गया है। प्रभारी अधिकारी द्वारा कंटेन्मेन्ट जोन में आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति घर पहुंच सेवा के माध्यम से की जायेगी। क्षेत्र में सभी प्रकार के वाहनों के आवागमन पर प्रतिबंध लगाया गया है। मेडिकल इमरजेंसी को छोड़कर अन्य किसी भी कारण से घर से बाहर निकलना प्रतिबंधित किया गया है। इन स्थानों की लगातार पुलिस पेट्रोलिंग के द्वारा निगरानी रखी जायेगी। जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा सम्बन्धित क्षेत्र में स्वास्थ्य की निगरानी, सैम्पल आदि जांच के लिए लिया जाना सुनिश्चित किया जायेगा। इन क्षेत्रों में आदेश के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए लोक निर्माण विभाग, जनपद पंचायत, महिला एवं बाल विकास विभाग तथा शिक्षा विभाग के अधिकारियों को दायित्व सौंपे गये हैं।