November 22, 2024

बीजेपी नेता का ऐलान- मांझी की जुबान काटने वाले को दूंगा 11 लाख का इनाम, जानें पूरा मामला

पटना. बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी (Jitan Ram Manjhi) के द्वारा ब्राह्मणों (Brahman Community) पर की गई अभद्र टिप्पणी को लेकर बिहार में मचा बवाल जारी है. भावनाओं को आहत करने वाले इस मामले में पूर्व सीएम मांझी के खिलाफ कई जगह FIR भी कराई गई है. इस बीच वहीं बीजेपी नेता गजेन्द्र झा (Reward for Cut Manjhi Tongue) ने उनकी जीभ काटने वाले को 11 लाख रुपये इनाम (11 Lakh Reward For Cut Tongue) देने का ऐलान किया है.

जानबूझकर हमला: गजेंद्र झा

बीजेपी नेता गजेंद्र झा ने मांझी पर सनातन धर्म के खिलाफ जानबूझकर बार-बार टिप्पणी करने का आरोप लगाया. झा ने ये भी कहा, ‘अगर मांझी हिंदू सनातन धर्म को नहीं मानते हैं तो उन्हें धर्म परिवर्तन कर लेना चाहिए. जो भी ब्राह्मण का बेटा समुदाय के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी करने वाले मांझी की जुबान काटेगा, उसे 11 लाख रुपये का नकद इनाम दिया जाएगा.’

‘मानसिक बीमार हैं माझी’

हम नेता और पूर्व सीएम मांझी पर भड़के बीजेपी नेता गजेंद्र ने मांझी को मानसिक तौर पर बीमार भी बताया. उन्होंने कहा मांझी ने अपनी संवेदनाएं खो दी है. वहीं ब्राह्मण समाज को होशियार होने की चेतावनी देते हुए उन्होंने कहा, ‘होशियार हो जाइए यदि यही रवैया रहा तो इस सरजमीं पर रहना मुश्किल हो रहा तो आपकों इस सरजमी में रहना मुश्किल हो जाएगा.’

‘हम’ का पलटवार

इस मामले में मांझी के माफी मांगने के बावजूद उनपर जुबानी हमले बढ़ते जा रहे हैं. इस बीच जीभ काटने का बयान सामने आने के बाद ‘हम’ प्रवक्ता की ओर से जवाबी पलटवार किया गया है. पार्टी के प्रवक्ता दानिश रिजवान ने कहा, ‘किसकी मां ने दूध पिलाया है जो जीतनराम मांझी जी की जुबान काट लेगा. क्या ये दलितों का अपमान नहीं है. पूर्व मुख्यमंत्री ने जब उस बयान को लेकर खेद प्रकट कर लिया है तो इसके बाद ये किस तरह की राजनीति की जा रही है. जब दलितों को थूक चटवाया जाता है तो बीजेपी के ये नेता बिल में घुस जाते हैं. और आज बड़ी जुबान खुल रही है.’

क्या बोले थे मांझी?

आपको बता दें कि अभी हाल ही में अपने समाज के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मांझी ने ब्राह्मणों को लिए बेहद गलत और अपमानजनक शब्द का इस्तेमाल किया था. हालांकि, बाद में सफाई देते हुए उन्होंने माफी मांगी थी और कहा था कि उन्होंने अपने समाज के लिए इस शब्द का इस्तेमाल किया था.

जीतन राम मांझी ने पंडितों के लिए अपशब्द का प्रयोग किया था. मांझी ने कहा था कि अब दलित समाज पूजा पाठ ज्यादा करने लगा है. पहले ये समाज प्रकृति पूजा करता था, लेकिन अब सत्यनारायण कथा करवाने लगा है. मांझी ने कहा, ‘आजकल गरीब तबके के लोगों में धर्म की परायणता ज्यादा आ रही है. सत्यनारायण भगवान की पूजा का नाम हम लोग नहीं जानते थे. **** अब हर टोला में हम लोगों के यहां सत्यनारायण भगवान पूजा होती है. इतना भी शर्म लाज नहीं लगता है कि पंडित **** आते हैं और कहते हैं कि कुछ नहीं खाएंगे आपके यहां, बस कुछ नगद दे दीजिए.’

मांझी बिहार की एनडीए सरकार का एक घटक दल है, जिसमें बीजेपी भी शामिल है.

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