November 22, 2024

ट्विन टावर का मलबा हटाने के लिए इतने रुपये होंगे खर्च

नोएडा में बना सुपरटेक ट्विन टावर ध्वस्त हो चुका है. विस्फोट करके इस 32 मंजिला इमारत को गिराया गया. टावर तो गिर गए लेकिन अब सबसे जरूरी काम बाकी है. वो है उसके मलबे को हटाना. ट्विन टावर के मलबे को हटाने के लिए पूरा प्लान बना लिया गया है. सबसे बड़ी बात ये है कि इसके मलबे को हटाने का भी पूरा खर्च सुपरटेक कंपनी उठाएगी. नोएडा अथॉरिटी से मिली जानकारी के मुताबिक जल्द ही मलबा हटाने का काम शुरू हो जाएगा और ये काम दो शिफ्टों में काम होगा.

मलबा हटाने में आएगा इतना खर्चा

इसके लिए सुपरटेक का एडिफिस कंपनी से करार हुआ है. सुपरटेक और एडिफिस के बीच हुए करार के मुताबिक एडीफाइस प्लांट तक मलबा पहुंचाएगा और 156 रुपये प्रति टन के हिसाब से 28 हजार टन का करीब 43,68,000 रुपये सुपरटेक चुकाएगा. ट्विन टावर के मलबे का निस्तारण सेक्टर-80 सीएंडडी वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट में जाएगा. ये प्लांट रैमकी कंपनी चला रही है. नोएडा का रोजाना का करीब 250 से 300 टन मलबे का निस्तारण यहीं किया जाता है. अब ये प्लांट दो दिनों में ट्विन टावर के मलबे का निस्तारण करना शुरू कर देगा.

सुपरटेक देगी खर्चा

नोएडा अथॉरिटी के ओएसडी से मिली जानकारी के मुताबिक सुपरटेक और एडीफाइस के बीच जो करार हुआ है, उसके तहत ट्विन टावर का मलबा सीएंडी वेस्ट मैनेजमेंट तक पहुंचाने की जिम्मेदारी एडीफाइस की होगी. इसके लिए जो चार्ज लगेगा वो एडिफाइस देगा. इसके अलावा सीएंडी वेस्ट प्लांट में जो भी मलबा निस्तारित होगा, उसका प्रति टन के हिसाब से खर्चे का वहन सुपरटेक करेगा.

इतने रुपये लगती है फीस

बता दें कि सीएंडी वेस्ट प्लांट में दो प्रोसेसिंग फीस है. पहली अगर मलबा प्लांट कंपनी खुद उठाती है तो प्रोसेसिंग शुल्क 500 रुपये प्रति टन और यदि एडिफाइस मलबा पहुंचाती है तो सुपरटेक को सिर्फ 156 रुपये प्रति टन प्रोसेसिंग शुल्क देना होगा.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Previous post अध्यक्ष का चुनाव लड़ने के बीच Shashi Tharoor को BJP ने दी नसीहत, कहा- इससे सीखें सबक
Next post रिलेशनशिप में 3 लोग, झगड़े से बचने के लिए साइन कर रखा है रोमांस कॉन्ट्रैक्ट
error: Content is protected !!