देश की अर्थव्यवस्था मोदी सरकार के नियंत्रण से बाहर, वृद्धि दर अनुमान से काफी कम, महंगाई और बेरोजगारी बेलगाम
रायपुर। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय के हालिया रिपोर्ट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए प्रदेश कांग्रेस संचार प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने कहा है कि मोदी सरकार की गलत आर्थिक नीतियों और वित्तीय कुप्रबंधन के चलते देश की अर्थव्यवस्था तेजी से उल्टे पांव भाग रही है। वर्तमान में देश का सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) वृद्धि दर वित्त वर्ष 2024-25 में पिछले वर्ष 8.2 प्रतिशत की तुलना में बेहद कम, मात्र 6.4 प्रतिशत है। सरकार के अनुमान से कम वृद्धि दर का अनुमान भारतीय रिजर्व बैंक ने लगाया और अब NSOका यह अनुमान वित्त मंत्रालय के अनुमान से भी बेहद कम है।
प्रदेश कांग्रेस संचार प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने कहा है कि 100 दिन में महंगाई कम करने का वादा था, आज 10 साल से अधिक हो गए केंद्र की सरकार में आए, महंगाई दिन-ब-दिन बढ़ती ही जा रही है, लेकिन यह सरकार जनता के प्रति अपने जवाबदेही से भाग रही है। भुखमरी इंडेक्स में देश को लगातार निचले पायदान पर धकेला जा रहे हैं, गरीब और गरीब हो रहे हैं, 80 करोड़ लोगों को गरीबी रेखा से नीचे धकेल कर 5 किलो राशन की लाइन में खड़ा कर दिया है। मोदी राज में देश पर कुल कर्ज का भार 2014 की तुलना में तीन गुना अधिक हो चुका है। सरकारी उपक्रम, सरकारी संपत्तियों और नवरत्न कंपनियां तक बेचे जा रहे हैं। युवाओं के पास रोजगार नहीं है, दूसरी तरफ केंद्र की सरकार सरकारी विभागों और सरकारी उपक्रमों में ही 25 लाख से अधिक पदों पर केंद्र की सरकार भर्तियां रोक रखी है। रोज़गार देने के बजाय अपने पूंजीपति मित्रों को सरकारी उपक्रम बेचकर युवाओं के सरकारी नौकरी के अवसर को खत्म कर रही है भाजपा सरकार।
प्रदेश कांग्रेस संचार प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने कहा है कि मोदी सरकार ने रुपए के अवमूल्यन का रिकॉर्ड बना दिया है। देश की अर्थव्यवस्था को भाजपा की सरकार संभाल नहीं पा रही है। रुपया टूटकर सर्वकालिक निचले स्तर 85 रुपया 90 पैसा प्रति डॉलर पर आ गया है, लेकिन मोदी जी मौन है। क्रूड ऑयल सस्ता होने के बावजूद केंद्र सरकार की अतिरिक्त मुनाफाखोरी के चलते डीजल, पेट्रोल महंगे दामों पर खरीदना पड़ रहा है, जिसका असर दैनिक उपभोग की वस्तुओं पर भी पड़ रहा है। टैक्स वसूली के मामले में भी यह सरकार बेरहम है, दूध, दही, पनीर, आटा, मैदा, सूजी, कफन के कपड़ों तक पर निर्दयता से यह सरकार टैक्स वसूल रही है जिसके चलते बढ़ती महंगाई से आम जनता का जीना दुभर हो गया है।