कलेक्टर ने समय-सीमा में लंबित प्रकरणों तथा विभिन्न योजनाओं की समीक्षा की

बलरामपुर/धीरेन्द्र कुमार द्विवेदी. संयुक्त जिला कार्यालय भवन के सभाकक्ष में समय-सीमा की बैठक कलेक्टर  श्याम धावड़े की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई। बैठक में कलेक्टर ने समय-सीमा के लंबित प्रकरणों, लोक सेवा गारंटी अधिनियम, कोविड-19, अंग्रेजी माध्यमों के स्कूल संचालन की तैयारी, शालाओं के रंग-रोगन, सुपोषण अभियान, मनरेगा, प्रवासी मजदूरों के रोजगार संबंधित विषय, मछली पालन, धान के अतिरिक्त अन्य फसलों के लिए रकबा विस्तार, वन अधिकार तथा बाढ़ नियंत्रण पर विस्तारपूर्वक समीक्षा की। बैठक में वन मण्डलाधिकारी  प्रणय मिश्रा ने वन अधिकार से संबंधित कार्यों के लिए 10 महत्वपूर्ण बिंदु अधिकारियों के साथ साझा की। कलेक्टर  श्याम धावड़े ने सभी अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को कोरोना वायरस के प्रसार एवं प्रभाव को देखते हुए नियमों का पालन तथा कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि कोविड-19 से संबंधित शासन के नियमों की किसी भी रूप में अवहेलना न हो तथा इसे सर्वोच्च प्राथमिकता दें। उन्होंने विशेष कोविड-19 अस्पताल में उपलब्ध व्यवस्थाओं की जानकारी लेते हुए किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए सदैव तैयार रहने के निर्देश दिये हैं। साथ ही कलेक्टर ने कोविड-19 अस्पताल में कोरोना मरीजों के ईलाज हेतु आवश्यक सभी उपकरणों तथा अन्य जरूरी सुविधाओं की कमी न होने की बात कही। उन्होंने सभी अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को समिति प्रबंधकों की बैठक लेकर खाद-बीज की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिये।

कृषकों को अगली फसल के लिए खाद-बीज की कोई कमी न हो, इसके लिए सभी समितियों में पर्याप्त मात्रा में भण्डारण हो।  उन्होंने हाट बाजार का संचालन प्रारंभ होने की स्थिति में मुख्यमंत्री हाट बाजार क्लीनिक योजना के अन्तर्गत बरसात के मौसम में हाट बाजारों में चिकित्सकों तथा पैरामेडिकल स्टाॅफ के लिए शेड की व्यवस्था करने को कहा तथा क्लीनिकों में मौसमी बीमारियों से संबंधित दवाईयों की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिये। उन्होंने जिला शिक्षा अधिकारी से अंग्रेजी माध्यम के स्कूलों के संचालन के तैयारियों तथा प्राचार्यों की पदस्थापना के संबंध में जानकारी ली। उन्होंने मुख्यमंत्री सुपोषण अभियान के अन्तर्गत कुपोषित बच्चों तथा एनीमिक महिलाओं को दी जा रही खाद्य सामग्रियों के नियमित रूप से वितरण तथा वर्तमान में कुपोषित तथा एनीमिक महिलाओं की संख्यात्मक जानकारी ली। कलेक्टर ने वन अधिकार पट्टाधारियों को विभिन्न योजनाओं के अन्तर्गत अधिक से अधिक लाभ पहुंचाने को कहा है। धान के अतिरिक्त अन्य दलहनी एवं तिलहनी फसलों को बढ़ावा देने हेतु किसानों को प्रोत्साहित किया जाए। उन्होंने समस्त अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को निर्देशित किया है कि निजी बीज एवं खाद विक्रेताओं के दुकानों की समय-समय पर जांच कर गड़बड़ी पाये जाने पर आवश्यक कार्यवाही भी करें। उन्होंने कृषि अधिकारियों से बिहन बैंक के बारे में जानकारी ली तथा इसे अच्छा प्रयास बताया। जिले में बड़ी संख्या में डबरियों के निर्माण के फलस्वरूप मछली पालन की संभावनाएं बढ़ी हैं। उन्होंने डबरियों में पानी उपलब्धता को देखते हुए मत्स्य पालन विभाग के अधिकारियों को मछली उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए कार्ययोजना तैयार कर गम्भीरता से इस दिशा में कार्य करने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने जल संसाधन विभाग के अधिकारियों को समय-सीमा की बैठक में लंबित प्रकरणों की जानकारी न होने पर नाराजगी व्यक्त करते हुए प्रकरणों को समय-सीमा में निपटाने के निर्देश दिये। जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी  हरीष एस. ने कहा कि बरसात के मौसम में बाढ़ की स्थिति के नियंत्रण तथा आपात स्थिति से निपटने के लिए जिला स्तर पर कंट्रोल रूम 24 घंटे संचालित होगी। तहसील स्तर पर बाढ़ नियंत्रण कक्ष बनाये जाएंगे। उन्होंने लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के अधिकारियों को बरसात के पूर्व सभी हैण्डपम्पों तथा कूप में ब्लीचिंग का कार्य पूर्ण करने को कहा। वन मण्डलाधिकारी  प्रणय मिश्रा ने कहा कि मुनगा के पौधे तैयार हो गये हैं तथा इसे जल्द ही बड़े स्तर पर रोपण के लिए स्थानों का चिन्हांकन किया जाएगा। राजस्व सहित अन्य विभागीय अधिकारी ऐसे स्थानों के बारे में जानकारी दें, ताकि महिला समूहों के माध्यम से उनका रोपण किया जा सके। बैठक में अपर कलेक्टर  विजय कुमार कुजूर, सर्व अनुविभागीय अधिकारी राजस्व सहित सर्व कार्यालय प्रमुख उपस्थित थे।

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