गोखने नाला को पाटकर किया जा रहा था अवैध निर्माण, निगम ने तोड़ा


बिलासपुर/अनिश गंधर्व. नदी-तालाबों के अलावा नाला को पाटने जमीन माफिया जी तोड़ प्रयास कर रहे हैं। आलम यह है कि बकायदा निर्माण भी कर ले रहे हैं। बिल्डरों द्वारा की जा रही मनमानी को कोई रोकने वाला नहीं रह गया है, यहीं कारण है कि शहर से लगे आस पास के गांवों में निस्तारी की जमीनों के अलावा नदी और तालाबों को पाटकर कालोनियां तान दी गई है। तिफरा स्थित गोकने नाला को पाटकर बिल्डर द्वारा आवासीय परिसर का निर्माण करा लिया गया। शिकायत के आधार पर निगम द्वारा तोडफ़ोड़ की कार्रवाई की गई।

तिफरा क्षेत्र के वार्ड क्रमांक 5 महाराणा प्रताप नगर में बिल्डर द्वारा गोकने नाला को पाटकर आवासीय परिसर का निर्माण करा लिया गया। जिसके चलते आसपास के क्षेत्रों में पानी घूसने लगा। लोगों इसकी शिकायत नगर निगम से की। निगम के अधिकारियों ने अवैध निर्माण को हटाने के निर्देश भी दिए थे बावजूद इसके बिल्डर द्वारा इसे नहीं हटाया गया।  नगर निगम ने आज कार्रवाई करते हुए नाले पर बने आवासीय परिसर के लिए किए गए निर्माण को ढहा दिया है। इससे पूर्व भी सकरी क्षेत्र में भी बिल्डर द्वारा नाले को पाटकर निर्माण कार्य कराया गया था। मालूम हो कि बारिश के दिनों में गोकने नाला में पानी का बहाव तेज हो जाता है आस-पास के क्षेत्रों में पानी घूस जाता है इसके बावजूद जमीन चरने वाले बिल्डर अपना हित साधने के चक्कर में नाला को पाटकर निर्माण कार्य कराने से बाज नहीं आ रहे हैं।

अरपा नदी में कब्जा
बीते 10 वर्षों में अरपा नदी में अवैध कब्जा बढ़ा है। पचरीघाट से लेकर कतियापारा सैकड़ों लोगों ने पचरी को पाटकर अवैध कब्जा कर लिया है। प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत इन कब्जाधारियों को पक्का मकान बनाकर दे दिया गया है। बेतरतीब ढंग से किए गए निर्माण कार्यों की समीक्षा भी नहीं की गई। अब अरपा नदी में सौंदर्यीकरण का कार्य प्रारंभ हो रहा है तो अवैध कब्जा कर मकान बनाने वालों के पसीने छूट रहे हैं। बताया जा रहा है कि योजना के तहत प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बनाये गए मकानों को भी तोड़ा जाएगा।

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