उन्होंने कहा था कि अच्छे दिन आएगें, अब बस ये बता दीजिये कि अच्छे दिन कैसे होते है?

रायपुर. पेट्रोल के कीमतों में लगातार वृद्धि को लेकर प्रदेश प्रवक्ता वंदना राजपूत ने कहा कि बढ़ती जा रही महंगाई की मार, नाकाम हो गई मोदी सरकार। कोरोना काल में आमदनी घटने के साथ बढ़ रही महंगाई ने घर का बजट बिगाड़ दिया है, मई 2014 से तो मोदी जी के साथ महंगाई के भी पंख आ गये है। महंगाई को भी पता है कि देश के प्रधानमंत्री से मुझे (महंगाई) संरक्षण मिल रहा है जनता चिल्लाये तो चिल्लाने दो, मर रहे है तो मरने दो मोदी जी मेरे (महंगाई) पंख नही काटने वाले। प्रदेश प्रवक्ता वंदना राजपूत ने कहा कि महंगाई की तेज चाल, दूर हुए चावल, आटा और दाल जब से केन्द्र में भारतीय जनता पार्टी की सरकार सत्ता में काबिज हुए है तब से आटा, दाल, रसोई गैस, पेट्रोल-डीजल की बढ़ी कीमतों ने लोगों के घर खर्च में कटौती करने को मजबूर कर दिया है। इस साल जनवरी और फरवरी में महज 13 दिन ही पेट्रोल 03.59 रुपये महंगा हो गया है। बीते 10 महीने में ही पेट्रोल के दाम में करीब 17 रुपये प्रति लीटर की बढ़ोतरी हो चुकी है। पेट्रोल के साथ-साथ डीजल की कीमत भी रिकार्ड बनाने की राह पर अग्रसर है। इस साल डीजल 03.61 रुपये प्रति लीटर महंगा हो चुका है। पिछले 10 महीने में ही इसके दाम में 15 रुपये से अधिक की बढ़ोतरी हो चुकी है।
 
प्रदेश प्रवक्ता वंदना राजपूत ने कहा कि आह महंगाई महीने की कमाई हफ्ते में गंवाई। बीते सात साल के दौरान और खास तौर पर कोविड काल में घर का अधिकांश सामान महंगा हुआ है तुवर दाल, मुंग दाल, आटा, बेसन के भाव आसमान छू रहे है इससे चलते महिलाओं के रसोई से समान लगभग नदारद हो चुकी है। लोग सब्सिडी वाले रसोई गैस सिलिंडर का इस्तेमाल करते हैं, उनके लिए सब्सिडी करीब-करीब खत्म ही हो गई है। ऐसे में पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतो के कारण आम आदमी के घर का बजट चरमरा गया है। बेलगाम महंगाई होने के बावजूद भाजपा के नेत्रियां चुप बैठे है ? राज्यसभा सांसद सरोज पांडे एवं केन्द्रीय मंत्री रेणुका सिंह जी आपसे निवेदन है कि मोदी जी से पूछना उन्होंने कहा था कि अच्छे दिन आएगें, अब बस ये बता दीजिये कि अच्छे दिन कैसे होते है?

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